भारी जनाक्रोश के बाद दिल्ली सरकार ने बदला फैसला: अब पुरानी पेट्रोल और डीजल गाड़ियों को भी मिलेगा फ्यूल
प्रकाशित: जुलाई 04, 2025 03:35 pm । सोनू
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इस नियम के तहत दिल्ली में पेट्रोल पंप को 1 जुलाई से 10 साल पुरानी डीजल और 15 साल पुरानी पेट्रोल गाड़ी को इंधन नहीं देने को कहा गया था
वाहनों से होने वाले प्रदूषण को रोकने दिल्ली सरकार ने 15 साल से ज्यादा पुरानी पेट्रोल गाड़ी और 10 साल से ज्यादा पुराने डीजल व्हीकल को फ्यूल देने पर प्रतिबंध लगाया था। यह नियम 1 जुलाई 2025 से लागू हुआ और इससे 62 लाख से ज्यादा वाहन प्रभावित हुए, जिनमें कार, बाइक, ट्रक और यहां तक कि विंटेज गाड़ियां शामिल थी।
हालांकि, इस फैसले की लोगों ने भारी आलोचना की, जिसके परिणाम स्वरूप दिल्ली सरकार ने यह प्रतिबंध हटा दिया है। दिल्ली की मुख्यमंत्री रेखा गुप्ता ने कहा कि सरकार ने एयर क्वालिटी मैनेजमेंट (सीएक्यूएम) को इस नियम पर रोक लगाने के लिए पत्र लिखा है।
आखिर क्या हुआ?
यह प्रतिबंध लागू होने के बाद दिल्ली में पेट्रोल पंप ने ऑटोमैटिक नंबर प्लेट रिकॉग्निशन कैमरा से पुराने व्हीकल की पहचान होने पर उन्हें ईंधन भरने से इनकार कर दिया।
इस नियम के कारण दिल्ली में पेट्रोल पंपों ने कई गाड़ियों को फ्यूल देने मना कर दिया। इससे वाहन मालिकों में खलबली मच गई, जिनमें से कई को पता ही नहीं था कि उनकी गाड़ी कानूनी उम्र पार कर चुकी है।
दिल्ली परिवहन विभाग ने पहले ही दिन एक दर्जन से अधिक कार और 60 टू-व्हीलर जब्त किए।
जब्त वाहनों का क्या होगा?
अब चूंकि इस प्रतिबंध पर रोक लगा दी गई है, तो ऐसे में अगर आपकी गाड़ी जब्त हो गई है, तो आप इन तरीकों से उसे फिर से प्राप्त कर सकते हैंः
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आपको सबसे पहले परिवहन विभाग में आवेदन जमा करना होगा और स्क्रैपिंग सेल द्वारा अपनी गाड़ी के ऑनरशिप दस्तावेज सत्यापित कराने होंगे।
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आपको यह बताना होगा कि क्या आप गाड़ी को दिल्ली-एनसीआर से बाहर ले जाने की योजना बना रहे हैं (आपको एनओसी की आवश्यकता होगी) या दिल्ली में निजी तौर पर पार्क करना चाहते हैं (आपको पार्किंग प्रमाण देना होगा)।
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यदि आपकी गाड़ी दिल्ली के बाहर पंजीकृत है, तो आपको यह बताना होगा कि आप इसे शहर में क्यों लाएं।
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रिसीव ऑर्डर लेने से पहले आपको जुर्माना भरना होगा, जो कार के लिए 10,000 रुपये और टू/थ्री व्हीलर के लिए 5,000 रुपये है।
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हालांकि, रिकवरी के बाद आपको दिल्ली में वाहन का उपयोग करने की अनुमति नहीं है। इसे या तो दूसरी जगह ले जाना होगा या फिर पब्लिक रोड़ से दूर रखना होगा।
दिल्ली सरकार के इस कदम पर आपके क्या विचार हैं? हमें नीचे कमेंट में बताएं।